जंग की बलिवेदी पर वर्दी लहूलुहान
एडिशनल एसपी राजेश पवार , आरक्षक होमेंद्र साहू , कृष्ण कुमार निर्मलकर , संतोष कुमार ध्रुव , भीष्म कुमार यदु, एसपीओ किशोर कुमार, देवलाल नेताम, और गौरव मरकाम को श्रद्धांजलि , इसके साथ ही गरियाबंद के उड़ीसा सीमा पर हुए नक्सली हमले में अपनी शहादत देने वालों की ओर से एक सवाल .....
हम भले ही न हों इस दुनिया में लेकिन आखिर कब तक यूँ ही ख़त्म होता रहेगा इन्सान , हम भी किसी के बेटे है..किसी के पिता ओर किसी के मांग का सिंदूर.. कब तक इस जंग की बलिवेदी पर वर्दी लहूलुहान होती रहेगी..कब तक ? आखिर कब तक..?
कहाँ गए मानवाधिकार की बात करने वाले ठेकेदार..समझ लो हम भी मानव ही हैं..
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें